Shriperumbudur

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Author:Laxman Burdak, IFS (R)

Sri Perumbudur (श्रीपेरुम्बुदुर) is a city in the Kanchipuram district of the Indian state of Tamil Nadu. It is known for being the birthplace of Sri Ramanuja, one of the most prominent Hindu Vaishnava saints. Its ancient name was Bhutapuri. The former Indian Prime Minister Rajiv Gandhi was assassinated here in 1991.

Location

It is located 40 kilometers southwest of the Capital City of Chennai on the National Highway 4.

Variants

History

भूतपुरी

भूतपुरी (AS, p.674): मद्रास से 37 मील और त्रैवलूर से 12 मील दक्षिण में स्थित है. भूतपुरी दक्षिण भारत के प्रसिद्ध दार्शनिक श्रीरामनुजाचार्य 15वीं शती) का जन्मस्थान है. अनंत सरोवर के समीप श्रीरामानुजाचार्य के नाम पर एक प्रसिद्ध प्राचीन मंदिर है. यह मंदिर बहुत भव्य और विशाल है. यहीं केशव भगवान का मंदिर और विशाल स्तंभों वाले कई सभा-मंडप स्थित हैं. भूतपुरी का स्थानीय नाम श्रीपेरुम्बुदुर है. [1]

श्रीपरेंबुदूर (मद्रास)

श्रीपरेंबुदूर (मद्रास): मद्रास मद्रास से 26 मील दूर श्रीरामानुजाचार्य के जन्म स्थान के रूप में प्रख्यात है. यहां इनका भाष्यकारस्वामी के नाम से प्रसिद्ध मंदिर स्थित है जिसके सामनेसौ स्तंभों का मंडप है. यह रामानुज के जन्मस्थल का निर्देशक समझा जाता है. मंदिर की भित्तियों पर आचार्य तथा उनके 95 शिष्यों की मूर्तियां अंकित हैं.[2]

श्रीपेरुम्बुदूर परिचय

श्रीपेरुम्बुदूर: दक्षिण भारत के तमिलनाडु राज्य में स्थित एक धार्मिक स्थान है। श्रीपेरुम्बुदुर को भूतपुर या भूतपुरी भी कहा जाता है। चेन्नई से 40 कि.मी. तथा त्रिवेल्लोर स्टेशन से 11 मील दक्षिण में यह बस्ती है। चेन्नई से यहाँ के लिए बस जाती हैं। यह हिन्दुओं का प्राचीन धार्मिक स्थान है। यह श्रीरामनुजाचार्य की जन्मभूमि है। यहाँ एक सरोवर है जिसे अनंत सरोवर कहते हैं, उसके समीप श्रीरामानुजाचार्य का विशाल मंदिर है। दूसरा मंदिर यहाँ केशव भगवान का है। उसमें शेषशायी मूर्ति है। उसके भीतर लक्ष्मी मंदिर तथा अन्य और भी छोटे मंदिर हैं। उससे थोड़ी दूरी पर यहाँ का सबसे प्राचीन भूतेश्वर शिव मंदिर है।

पौराणिक कथा: भगवान शिव के नृत्य के समय उनके कुछ पार्षद्र भूत हँस पड़े। शंकर जी ने रुद्र होकर उन्हें अपने पार्षदत्व से पृथक् कर दिया वे दुःखी होकर ब्रह्माजी की शरण में गये। ब्रह्माजी ने उन्हें स्थल बतलाकर भगवान केशव की आराधना करने को कहा। उनकी आराधना से प्रसन्न होकर भगवान केशवजी ने शंकरजी से अनुरोध करके उन्हें पार्षदत्व दिला दिया। भगवान ने वहाँ अनन्त सरोवर प्रगट किया था। भूतों ने उसमें स्नान करके शंकरजी की पूजा की। तब से इस तीर्थ का नाम भूतपुरी हो गया।

संदर्भ: भारतकोश-श्रीपेरुम्बुदूर

External links

References