Swatantra

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परमाणु बम
लेखक
पृथ्वीसिंह बेधङक



भारत को स्वतंत्र कर दो


आपस में कर के मेल

फ़ूट की बेल

तोङ के धर दो


भारत को स्वतंत्र कर दो


हे विनती नगर निवासी से

मठधारी क्या सन्यासी से

फ़ांसी से मत ना डरो

काट चाहे सर दो


भारत को स्वतन्त्र कर दो


बीमार करो सेवा मन से

कंगाल करो सेवा तन से

धन से ऎ साहूकारो

कर दो जरा दो


भारत को स्वतन्त्र कर दो


सब हिन्दू मुसलमान भाईयो

एक झण्डे के नीचे आईयो

मर जाइयो देश के लिये

वतन के मर्दो


भारत को स्वतन्त्र कर दो


माटी में मिले यह देह वहे

दुनियाँ में सदा कोई नहीं रहे

कहे पृथ्वीसिंह बेधङक

एक बिजली सी भर दो


भारत को स्वतन्त्र कर दो



Digital text (Wiki version) of the printed book prepared by - Vijay Singh विजय सिंह

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