Tridiva

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Author:Laxman Burdak, IFS (R)

Tridiva (त्रिदिवा) is an one of seven Rivers of Plakshadvipa mentioned in Puranas and Mahabharata.

Origin

Variants

  • Tridiva (त्रिदिवा) (AS, p.21)
  • Trivida (त्रिविदा) (AS, p.416)

History

त्रिदिवा

विजयेन्द्र कुमार माथुर[1] ने लेख किया है ...त्रिदिवा (AS, p.21) विष्णुपुराण (2,4,11) के अनुसार प्लक्षद्वीप की सात मुख्य नदियों में से एक है- 'अनुतप्ता शिखी चैव विपाशा त्रिदिवा अक्लमा अमृता सुकृता चैव सप्तैतास्तत्र निम्नगा:'। संभवत: यहां अधिकांश नदियों के नाम काल्पनिक हैं।

त्रिविदा

विजयेन्द्र कुमार माथुर[2] ने लेख किया है ...त्रिविदा (AS, p.416): 'वेदसमृतां वेदवतीं त्रिदिवामिक्षुलांकृमिम्' मह. भीष्म.9,17. भीष्म पर्व में नदियों की लंबी सूची में त्रिदिवा का भी नामोल्लेख है. यह वेदवती के निकट बहने वाली कोई नदी हो सकती है. वेदवती दक्षिण की नदी है जो भीमा के निकट बहती है.

2. विष्णु पुराण के अनुसार प्लक्षद्वीप की सात मुख्य नदियों में से एक नदी - 'अनुतप्ता शिखी चैव विपाशा त्रिदिवा अक्लमा, अमृता सुकृता चैव सप्तैतास्तत्र निम्नगा:'।

In Mahabharata

Tridiva (त्रिदिवा)(River) is mentioned in Mahabharata (VI.10.16), (VI.10.17),

Bhisma Parva, Mahabharata/Book VI Chapter 10 describes geography and provinces of Bharatavarsha. Tridiva (त्रिदिवा)(River) is mentioned in Mahabharata (VI.10.16)[3] (VI.10.17)[4].

External links

References

  1. Aitihasik Sthanavali by Vijayendra Kumar Mathur, p.21
  2. Aitihasik Sthanavali by Vijayendra Kumar Mathur, p.416
  3. वेद समृतिं वेतसिनीं त्रिदिवाम इष्कु मालिनीम, करीषिणीं चित्रवहां चित्रसेनां च निम्नगाम (VI.10.16)
  4. गॊमतीं धूतपापां च वन्दनां च महानदीम, कौशिकीं त्रिदिवां कृत्यां विचित्रां लॊहतारिणीम (VI.10.17)

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