Daya Ram Maharia

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Daya Ram Maharia

Daya Ram Maharia (born:18.06.1956) is social worker, Writer and retired education officer from village Kudan, Sikar, Rajasthan. He retired on 30.06.2016. Mob: 9950999735

दयाराम महरिया का जीवन परिचय

जीवन -वृत्त

नाम - दयाराम महरिया

माता – पिता - श्रीमती भूरी देवी, श्री मुना राम महरिया

जन्म स्थान - ग्राम- पोस्ट- कूदन, जिला- सीकर (राज.)

जन्म तिथि - 18 जून, 1956 ई (15 सितम्बर 1957)

शैक्षिक योग्यता - B.Sc., M.A (His.), LL.B., B.Ed.

स्थाई पता - ग्राम- पोस्ट- कूदन, जिला- सीकर (राज.)

वर्तमान पता - नवलगड रोड, सीकर (राज.)

ई-मेल - dmahariya56@gmail.com

मोबाइल नं. - 9950999735

व्यवसाय - सेवानिवृत्त, जिला शिक्षा अधिकारी

सेवानिवृत्ति - 30 जून, 2016

अभिरूचि - अध्ययन, लेखन तथा सामाजिक क्षेत्र में सक्रिय

पितामह श्री हनुमानाराम जी व प्रपितामह श्री भोमाराम जी दोनों स्वतन्त्रता सेनानी 25 अप्रैल, 1935 ईस्वी से 15 जुलाई, 1935 तक सीकर ठिकाने के शेखावाटी किसान आन्दोलन ‘‘कूदन-काण्ड’’ में जेल में रहे।

संक्षिप्त जीवनी
क - शैक्षिक/शिक्षा प्रशासनिक पद


क्रम संख्या पद संस्था
1. वरिष्ठ अध्यापक (जनवरी 1979) राजकीय माध्यमिक विद्यालय जसरापुर झुंझुनू
2. वरिष्ठ अध्यापक (1980) राजकीय माध्यमिक विद्यालय नवलड़ी झुंझुनू
3. वरिष्ठ अध्यापक (1980- 1989) श्री कल्याण राजकीय उच्च माध्यमिक विद्यालय, सीकर
4. उप जिला शिक्षा अधिकारी एवं कार्यवाहक जिला शिक्षा अधिकारी (प्रारंभिक), सीकर (1989- 1993) शिक्षा विभाग, राजस्थान
5. कार्यक्रम समन्यक (साक्षरता) जिला प्रौढ़ शिक्षा अधिकारी, एवं पदेन सचिव जिला साक्षरता समिति, सीकर सहायक निदेशक अनौपचारिक शिक्षा सीकर (1993- 2001) जिला साक्षरता समिति, सीकर
6. प्रधानाचार्य (2001- 2003) राजकीय उच्च माध्यमिक विद्यालय, फागलवा (सीकर)
7. जिला साक्षरता एव सतत शिक्षा अधिकारी, चूरू (मई 2003- से दिसम्बर 2003) साक्षरता एवं सतत शिक्षा विभाग राजस्थान
8. उप निदेशक साक्षरता एवं OSD शिक्षा मंत्री राजस्थान (2004-2007) निदेशालय साक्षरता एवं सतत शिक्षा राजस्थान एवं शिक्षा मंत्री कार्यालय सचिवालय जयपुर
9. जिला साक्षरता एवं सतत शिक्षा अधिकारी, जयपुर (2006- 2012) साक्षरता एवं सतत शिक्षा विभाग राजस्थान
10. प्रधानाचार्य (दिसम्बर 2012- जून 2013) सेठ आनंदी लाल पोद्दार मूक बधिर उच्च माध्यमिक विद्यालय, जयपुर
11. सचिव (जून 2013- जून 2016) राजस्थान स्टेट ओपन स्कूल, जयपुर
12. जिला शिक्षा अधिकारी (प्रारंभिक) जयपुर (17 जून 2016- 30 जून 2016) प्रारंभिक शिक्षा विभाग, जयपुर
ख - सांगठनिक पद
क्रम संख्या पद संस्था
1. प्रधानमंत्री, छात्र संसद (1972- 1973) राजकीय उच्च माध्यमिक विद्यालय कूदन, जिला- सीकर (राज)
2. सचिव, छात्र परिषद (1977- 1978) गाँधी विद्या मंदिर शिक्षक प्रशिक्षण महाविद्यालय सरदार शहर, जिला- चुरु
3. उप सचिव (1980) चेतना (सामाजिक एवं साहित्यक संस्था) नवलगढ़, जिला- झून्झूंनू
4. प्रदेश संयुक्त मंत्री (1982-1989) राजस्थान वरिष्ठ अध्यापक संघ
5. राज्य शिक्षक हड़ताल, सीकर जिला संयोजक (1985) सभी शिक्षक संघ
6. जिलाध्यक्ष (1985-1989) अखिल राजस्थान राज्य कर्मचारी संयुक्त महासंघ सीकर
7. सचिव (1984- 1986) साहित्य परिषद, सीकर
8. संस्थापक- संयोजक (1984-1988) सांस्कृतिक मण्डल, कूदन सीकर
9. कार्यकारिणी सदस्य त्रिवर्षीय (2019-2022) ग्रामीण महिला शिक्षण संस्थान समिति, शिवसिंहपुरा, सीकर
10. राष्ट्रीय कार्यसमिति सदस्य (2022) राष्ट्रीय स्वाभिमान आन्दोलन
11. अध्यक्ष (जनवरी 2023 से ..............) सुजला शेखावाटी समिति, सीकर
ग - उल्लेखनीय पुरस्कार एवं प्रशस्ति-पत्र
क्रम संख्या प्रशस्ति पत्र देने वाली संस्था/ व्यक्ति का नाम वर्ष जिसमें दिया गया कार्य जिसके लिए दिया गया
1. सांस्कृतिक एवं साहित्य परिषद होली गली मथुरा 1980 ‘‘साहित्य सरस्वती’’ समान्न-उपाधि कविता लेखन के लिए
2. जिला कलेक्टर, सीकर गणतंत्र दिवस समारोह 1988 मुख्यमन्त्री राहत कोष हेतु सहायता नाटक मंचन (एक लाख रूपये दिये)
3. जिला कलेक्टर, सीकर 24 अप्रैल, 1993 सीकर जिले में साक्षरता की पद यात्राओं के समन्वयक
4. जिला कलेक्टर, सीकर गणतंत्र दिवस समारोह 1994 साक्षरता में वातावरण निर्माण एवं साहित्य लेखन
5. जिला कलेक्टर, सीकर राजस्थान दिवस समारोह 1994 उत्कृष्ट प्रदर्शन एवं सराहनीय कार्य
6. जिला कलेक्टर, सीकर गणतंत्र दिवस समारोह 1995 निरक्षरता उन्मूलन में उल्लेखनीय कार्य
7. जिला कलेक्टर एवं अध्यक्ष साक्षरता समिति, सीकर नवम्बर 1995 साक्षरता एवं प्लस पोलियो टीकाकरण अभियान में महत्ती भूमिका
8. अतिरिक्त कलेक्टर विकास एवं पदेन परियोजना निदेशक, डी.आर.डी.ए. सीकर प्रशंसा पत्र 11.01.1996 पोलियो उन्मूलन एवं साक्षरता के क्रम में की गई पद यात्रा
9. जिला कलेक्टर, सीकर गणतंत्र दिवस समारोह 1999 लोकसभा-विधानसभा चुनाव में प्रशिक्षण
10. जिला कलेक्टर, सीकर विधानसभा चुनाव में कार्य के क्रम में प्रशंसा पत्र
घ - राज्य एवं जिला- स्तरीय दक्ष प्रशिक्षक
क्रम संख्या विभाग/ क्षेत्र का नाम प्रक्षिक्षण जहा से प्राप्त किया विशेष
1. सांस्कृतिक अनुस्थापन कार्यक्रम CCRT नई दिल्ली 24 मई से 01 जुलाई 1988
2. परिवार कल्याण प्रशिक्षण 22 से 27 अक्टूबर 1990 OTS परिसर उदयपुर जिला स्तरीय परिवार कल्याण प्रशिक्षक
3. साक्षारता अभियान NIRD Hyderabad राज्य स्तरीय दक्ष प्रशिक्षक 12 से 23 सितम्बर 1994 राज्य स्तरीय प्रशिक्षक
4. जनसंख्या शिक्षा 28 व 29 मार्च 1994 निदेशक आई.ई.सी. जयपुर द्वारा प्रशिक्षण लिया। जिला स्तरीय प्रेरक शिक्षक
5. पंचायती राज विभाग 18.09.2000 से 23.09.2000 तक राज्य स्तर पर आई.डी.एस. द्वारा प्रशिक्षण प्राप्त किया। पंचायती राज जनप्रतिनिधियों का जिला स्तरीय प्रशिक्षण
ड. - समाज कल्याण एवं दलित वर्ग में किये गये उल्लेखनीय कार्य
क्रम संख्या विभाग/ क्षेत्र का नाम प्रक्षिक्षण जहा से प्राप्त किया विशेष
1. समाज कल्याण विभाग द्वारा संचालित वाल्मिकी छात्रावास का अंशकालीन अधीक्षक सीकर वर्ष 1995
2. वाल्मिकी समाज की महिला श्रीमती फूली देवी के मायरा भरा ग्राम- कूदन (सीकर) 1988 फूली देवी के भाई नहीं होने के कारण भाई के रूप में भात की रस्म निभाई
3. दलित वर्ग के आवासीय विद्यालय में समन्वयक केन्द्रीय कल्याण मन्त्रालय, भारत सरकार द्वारा सीकर में आवासीय विद्यालय का संचालन वर्ष 1999

उल्लेखनीय उपलब्धियाँ

1. सांस्कृतिक मण्डल, कूदन सीकर के संयोजक के रूप में जिला प्रशासन के सहयोग एवं समन्वय से सन् 1988 में अकाल सहायतार्थ एक नाटक का आयोजन जिला मुख्यालय पर कर मुख्यमन्त्री अकाल सहायता कोष में 1 लाख रूपये जमा करवाये। 15 अगस्त, 1988 को जिला प्रशासन द्वारा प्रशस्ति पत्र देकर सम्मानित किया गया।

2. राज्य कर्मचारियों की हड़ताल 12 जनवरी, 1989 से 24 फरवरी 1989 के दौरान महासंघ अध्यक्ष के रूप में जिला स्तरीय हड़ताल का नेतृत्व किया, तथा 44 दिन रेस्मा के अन्तर्गत जेल में रहा।

3. सीकर जिले के साक्षरता अभियान के नोडल अधिकारी के रूप में विभिन्न पदों पर रहते हुए लगभग 8 वर्ष कार्य किया। जिले के सभी ग्राम पंचायतों में आखर पद यात्राएं निकालकर वातावरण तैयार किया गया तथा लोक भाषा में नाटक कविताएं लिखकर लोगों को साक्षरता हेतु प्रेरित किया गया। साक्षरता समिति की ओर से प्रकाशित ‘आखर बरखा’ बुलेटिन का सम्पादन किया। 8 वर्ष तक साक्षरता कार्य हेतु जिले में की गई यात्राओं का टी.ए., डी.ए. नहीं लिया गया ताकि स्वयंसेवी भावना से काम करने हेतु लोगों को प्रेरित किया जा सके। साक्षरता अभियान के सन्दर्भ व्यक्ति के रूप में राज्य के 13 जिलों में प्रशिक्षण दिया। साक्षरता के नोडल अधिकारी के रूप में काम करने के दौरान ही सीकर जिले को राष्ट्रीय स्तर का सर्वोच्च पुरस्कार ‘‘सत्येन मैत्रेय’’ मिला।

4. प्रधानाचार्य, राजकीय उच्च माध्यमिक विद्यालय, फागलवा में कार्यरत के समय एक अभिनव प्रयोग करते हुए ग्राम में विद्यालय विकास समिति (पंजीकृत) समिति के माध्यम से गौशाला का संचालन किया गया। जिला कलक्टर ने 2002-2003 में इसे पशु शिविर के रूप में स्वीकृत कर अनुदान प्रदान किया। विद्यार्थियों में गौसेवा की भावना विकसित करने के लिए उन्हें गाय के लिए एक रोटी लाने के लिए प्रेरित किया गया। ‘पहले देंगे गो-ग्रास, फिर लेंगे स्कूल-क्लास’ के आह्वान के साथ यह अभिनव अभियान बड़ा सफल रहा एवं राज्य में चर्चित हुआ। कालान्तर में गौशाला के लिए भूमि आंवटन करवाकर एक स्थाई सुविकसित गौशाला बनाई गई जो आज ‘श्रीकृष्ण गौशाला’ के नाम से फागलवा ग्राम के पास सीकर-सालासर सड़क पर संचालित है।

5. जिला साक्षरता अधिकारी, चूरू के पद पर रहते हुए नवसाक्षरों को पुस्तक उपलब्ध करवाने के लिए ग्राम- ग्राम में प्रेरकों के माध्यम से ‘पुस्तक दान- महाभियान’ चलाया गया जो बड़ा सफल रहा। उससे प्रेरित होकर अन्य जिलों ने भी इस अभियान को अपनाया।

6. माननीय शिक्षा मन्त्री (2003 से 2007) श्री घनश्यामजी तिवाड़ी के OSD पद पर कार्य करते हुए माननीय मन्त्री महोदय के मार्गदर्शन में राजस्थान की शैक्षणिक एवं प्रशासनिक व्यवस्था में कई नवाचार एवं सुधार किये। अभियान चलाकर ‘स्वस्थ-हरित शिक्षित विकसित राजस्थान’ का नारा देकर जन-जन तक सन्देश पहुँचाया गया। कक्षा 11वीं के विद्यार्थियों के लिए ‘जीवन कौशल शिक्षा’ की पुस्तक माध्यमिक शिक्षा बोर्ड, राजस्थान द्वारा तैयार करवाई जा रही उसके मार्गदर्शक मण्डल के सदस्य के रूप में कई सुझाव देकर उस पुस्तक को छात्रोपयोगी बनाया गया।

7. सेठ आनन्दीलाल पोद्दार मूक बधिर उच्च माध्यमिक विद्यालय के प्रधानाचार्य पद पर अल्पावधि में (पाँच माह) छात्रावास एवं कक्षा-कक्ष हेतु 122 लाख रूपये केन्द्रीय ग्रामीण विद्युत कॉर्पोरेशन (REC) से CSR के अन्तर्गत स्वीकृत करवाये। विद्यालय में पहली बार सांकेतिक भाषा में राष्ट्रगान प्रारम्भ करवाया। यहाँ यह उल्लेखनीय है कि सन् 1946 में स्थापना के पश्चात् से अब तक (2013) राष्ट्रगान सांकेतिक भाषा में प्रस्तुत नहीं किया गया था। Times Of India 03 अप्रैल 2013 के अंक में मुख पृष्ठ पर इस सम्बन्ध में समाचार प्रकाशित हुआ। विद्यालय के छात्रावास के विद्यार्थियों के माध्यम से जैविक सब्जी तैयार करवाकर उसका विपणन किया। बन्द बड़ी व्यावसायिक कौशल कार्यशाला को प्रारम्भ करवाया। सर्जनात्मक एवं लेखन विद्यार्थी जीवन से ही पठन एवं लेखन में रूचि रही है। आकाशवाणी एवं दूरदर्शन पर कई बार वार्ताएं प्रसारित हो चुकी है। शिक्षा विभागीय पत्रिका ‘शिविरा’ एवं अन्य प्रतिष्ठित पत्रिकाओं में कई लेख प्रकाशित है। ‘जय-जय राजस्थान’ सहित कई गानों / कविताओं का लेखन। निम्न प्रस्तुत पुस्तकों का सम्पादन किया है।

(i) सुमित्रा सौरभ (पूर्व विधानसभाध्यक्ष श्रीमती सुमित्रासिंह का अभिनन्दन ग्रन्थ)
(ii) मेरी जीवन यात्रा (श्री मोतीसिंह राठौड़ की आत्मकथा)
(iii) रणबंका रणमलसिंह (पूर्व विधायक श्री रणमल सिंह सीकर का अभिनन्दन ग्रन्थ)
(iv) परशु-पराग, मार्गदर्शक (एडवोकेट श्री परशुराम अग्रवाल का अभिनन्दन ग्रन्थ)
(v) “चौधरी चरण सिंह विचार एवं व्यक्तित्व” पुस्तक का सम्पादन किया।

दयाराम महरिया के लेख

चित्र गैलरी

बाहरी कड़ियाँ

संदर्भ