Hanumangarh Jila Jat Samiti
Hanumangarh Jila Jat Samiti is Organization for the welfare and healthy development of the Jats of Hanumangarh, Rajasthan.
जाट समाज समिति हनुमानगढ़
मण्डल आयोग की रिपोर्ट लागू होने के पश्चात समाज में व्याप्त कुरीतियों और सामाजिक बुराइयों को दूर करने के लिए वर्ष 1992 में जाट समाज संगरिया तहसील इकाई का गठन हुआ। इसकी प्रेरणास्वरूप दिनांक 24.1.1993 को जाट समाज समिति हनुमानगढ़ का गठन कर इसका पंजीयन कराया। 6 जून 1993 को हनुमानगढ़ में प्रथम जाट सम्मेलन कराया गया जिसमें मृत्युभोज बंद करने का संकल्प लिया गया। अभी तक पाँच स्मारिकाएं प्रकाशित की गई हैं- प्रथम: 13.3.1994, द्वितीय:7.3.1995, तृतीय: 16.6.1997, चतुर्थ: 1998, पंचम: 28.10.2010
जिला जाट समाज समिति हनुमानगढ़ द्वारा प्रकाशित पंचम स्मारिका 28.10.2010 के संपादक मण्डल में प्रो. डी. सी. सारण मानद संपादक, चौधरी देवीलाल पूनिया प्रबंध संपादक और उदय सिंह बेनीवाल सह-संपादक हैं।
समाज ने लड़कियों के छात्रावास की मांग पर तत्कालीन मंडी विकास समिति ने कीमतन भूमि का आवंटन किया। डॉ राम प्रताप तत्कालीन खाद्य एवं नागरिक आपूर्ती मंत्री के सहयोग से राज्य सरकार ने भूमि की कीमत माफ करदी। जाट समाज समिति हनुमानगढ़ की देखरेख में जाट कन्या छात्रावास व जाट धर्मशाला का संचालन निर्वाचित कार्यकारिणी द्वारा किया जा रहा है।
जाट कन्या छात्रावास में 75 कमरे हैं और 210 छात्राओं के रुकने की व्यवस्था है। यहाँ कंप्यूटर कक्ष, वाचनालय, स्टोर तथा एक बड़ा डायनिंग हाल है।
जाट धर्मशाला में 8 दुकानें, एक हाल, दस कमरे अटैच स्नानघर, शौचालय मय बरामदा, एक रसोई, एक स्टोर तथा 8 शौचालयों का निर्माण कराया गया है।
जाट समाज समिति के उद्देश्य
जाट समाज समिति के उद्देश्य निम्नानुसार हैं:
- 1. जाट समाज के बहुमुखी विकास के लिए काम करना
- 2. जाट समाज के लड़कों और लड़कियों की शिक्षा के प्रचार प्रसार के प्रयास करना
- 3. जाट समाज की सामाजिक एवं धार्मिक कुरीतियों का निवारण करना
- 4. जाट समाज को विभिन्न व्यवसायों और सेवाओं में आगे लाने के लिए प्रोत्साहित करना
- 5. जाट समाज के विभिन्न समस्याओं से ग्रस्त लोगों की सहायता करना
- 6. जाट समाज की महिलाओं और बच्चों का सर्वांगीण विकास करना, जिसमें शैक्षणिक, स्वास्थ्य, आर्थिक, औद्योगिक, कुटीर उद्योग, कृषि, खादी ग्रामोद्योग – पुनर्स्थापना, निराश्रितों को संरक्षण एवं उनकी आवासीय समस्या सुलझाना । हनुमानगढ़ में धर्मशाला एवं जाट कन्या छात्रावास सुचारु रूप से संचालित हैं।
- 7. युवा पीढ़ी के लिए रचनात्मक कार्य हाथ में लेना, युवक-मण्डल, महिला-मण्डल आदि गठित करना। समुचित विकास में शिक्षा, स्वस्थ्य, निराक्षरता – निवारण, नशाबंदी, दहेज विरोधी अभियान चलना, बाल-विवाह की रोकथाम करना आदि।
- 8. छूछक, उढ़ावनी (पहरवानी), मृत्यु-भोज, शादी एवं अन्य उत्सवों पर अनावश्यक दिखाओं से रोकने के लिए जाट-समाज को प्रेरित करना।
- 9. जाट समाज में परस्पर सहयोग, भाई-चारा, मेलजोल, सामंजस्य व सम्झौतावादी दृष्टिकोण उत्पन्न करने का प्रयास करना।
- 10. जाट समाज के प्रतिभावान, जरूरतमन्द छात्र-छात्राओं को यथासंभव सहयोग देना।
- 11. उक्त सामाजिक, धार्मिक, संस्कृतिक, शैक्षणिक, व्यापारिक कार्यों के प्रचारार्थ साहित्य का प्रकाशन करना, प्रचार प्रसार करना।
जाट समाज समिति की गतिविधियां
जिला जाट समाज समिति हनुमानगढ़ द्वारा प्रकाशित पंचम स्मारिका 28.10.2010 के संपादक मण्डल में प्रो. डी. सी. सारण मानद संपादक, चौधरी देवीलाल पूनिया प्रबंध संपादक और उदय सिंह बेनीवाल सह-संपादक हैं। पंचम स्मारिका 28.10.2010 में जिन हस्तियों का स्मरण किया गया है वे हैं:
- चौधरी बहादुर सिंह भोबिया
- स्वामी केशवानन्द
- चौधरी चरण सिंह
- चौधरी देवी लाल
- चौधरी कुंभा राम आर्य
- चौधरी दौलत राम सारण
- एस. पी. ताराचंद सारण
- चौधरी रामचन्द्र कडवासरा
- चौधरी हंसराज आर्य
- चौधरी हरीराम गोदारा
- चौधरी रामचन्द्र आर्य
- चौधरी रामनारायण ज्याणी
- कामरेड श्योपत सिंह
- डॉ घासी राम वर्मा
जाट समाज समिति की कार्यकारिणी
जिला जाट समाज समिति हनुमानगढ़ की कार्यकारिणी निम्नानुसार है:
- गंगाजल मील - संरक्षक
- सूरेन्द्र कुमार कडवासरा - अध्यक्ष
- प्रह्लाद राय तरड़ - उपाध्यक्ष
- हेत राम गोदारा - उपाध्यक्ष
- श्रवण कुमार गोदारा - महामंत्री
- उदराम झोरड़ - मंत्री
- दौलत राम डोटासरा - कोषाध्यक्ष
- देवी राम पुनिया - सदस्य
- बृज लाल सिहाग - सदस्य
- देवदत्त भिड़ासरा - सदस्य
- मोहन लाल आर्य - सदस्य
- राजेन्द्र काजला - सदस्य
- देवेन्द्र गोदारा - सदस्य
- उदाराम भुंवाल - सदस्य
- जयलाल सहारण - विशिष्ट आमंत्रित सदस्य
संपर्क सूत्र
- जोतराम नोजल - व्यवस्थापक, फोन: 01552-262008, Email: jatsamajsamiti@gmail.com
List of major donors
List of major donors for Jat Kanya Chhatrawas run by Hanumangarh Jila Jat Samiti:
- Swami Keshwanand Smriti Chairitable Trust, Sangaria, Rs. 900000/-
- Smt Saraswati Devi Manda - From Purani Abadi, Ganganagar, donated Rs. 100000/- for Jat Kanya Chhatrawas run by Hanumangarh Jila Jat Samiti
- Hemraj Beniwal - IPS, From Tibbi, Hanumangarh, donated Rs.70000/- for Jat Kanya Chhatrawas run by Hanumangarh Jila Jat Samiti
- Late Smt Sita Devi - Wife of Madan Lal from Subhanwala, Hanumangarh, donated Rs.70000/-,for Jat Kanya Chhatrawas run by Hanumangarh Jila Jat Samiti
- Nand Ram Godara - Chahuwali, Rs.51000/-
- Janta Truck Union - Hanumangarh, Rs.51000/-
- Lalchand Bhadu - Varyam Khera, Punjab, Rs.51000/-
- Birbal Ram Sahu - Jorkian, Hanumangarh, Rs.51000/-
- Krishna Sihag - Ghamudwali, Ganganagar, Rs.51000/-
- Gangajal Meel - Hanumangarh, Rs.51000/-
- Bhim Sen Jhorad - Lilanwali, Hanumangarh, Rs.51000/-
- Goraksha Tila Pranyas Samiti - Gogameri, Rs.50000/-
Gallery
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Chaudhari Bahadur Singh Samaj Jagruti Parmarth Trust Bhawan
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Jat Dharmshala Hanumangarh
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References
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