Mardatu Bari
Author:Laxman Burdak, IFS (R), Jaipur |
Mardatu Bari (मरडाटु बड़ी) or Mardatu Badi is a medium-size village in Fatehpur tahsil of Sikar district in Rajasthan.
Location
Origin
Founders
Jat Gotras
- Godara
- Jhuria - There are Jats of gotra Jhuria, which is the major gotra in the village having about 80 families.
- Kalwaniya
History
There is a theh (थेह), signs of old habitation, near the village indicating the antiquity of the village.
झूरिया गौत्र का इतिहास
झूरिया गौत्र का यह इतिहास प्रो. हनुमानाराम ईसराण (Mob: 9414527293, Email:<hrisran@gmail.com>) द्वारा उपलब्ध कराया गया है। ये तथ्य बही भाट श्री कानसिंह गांव ढेंचवास, पोस्ट:चौसाला वाया डिग्गी, तहसील: मालपुरा, जिला:टोंक (राजस्थान) की बही में अभिलिखित है।
झूरिया का गौत्रचारा
- ऋषि-वंश : कपिल ऋषि
- नख: दायमा
- गौत्र: ब्रह्मेश्वर गौत्र
- पूजा: माता दूधवती
- देव: गोस्वामी (गोसांई जी की चरण पूजा)
- देव-स्थान: गांव - जुंजाला, जिला - नागौर एवं रुणेचा, रामदेवरा (जोधपुर)
झूरिया गोत्र की वंशावली:
झूरिया गोत्र के प्रथम महापुरुष/संत पुरूष श्री महिदास जी हुए।
मरडाटु के झूरिया
लेखक दिनांक 29 अप्रैल 2018 को गांव मरडाटु बड़ी गए। वहाँ पर झूरिया गोत्र के बड़वा मोतीसिंह राव (मोबा:9928887946) निवासी बरना, तहसील किशनगढ़, जिला अजमेर, से मुलाक़ात हुई। उन्होंने झूरिया गोत्र का मौखिक इतिहास निम्नानुसार बताया। विस्तार से जानकारी वे बही देखकर बता सकेंगे।
ज्याणी, झूरिया, हुड्डा और ईसराण गोत्र में भाई चारा है यह आपस में शादी नहीं करते हैं।
झूरिया गोत्र की माता: कालका कोलकाता
झूरिया गोत्र का ब्राह्मण: पारिख
झूरिया गोत्र का आदिदेव: शिव, गोसाई जी (जुन्जाला, नागौर)
झूरिया गोत्र का वंश : सूर्यवंश
झूरिया गोत्र का मुख्य गाँव मरडाटु बड़ी है। यहीं से ये लोग आस-पास के गांवों में फैले हैं। इनका निकास मथुरा से संवत 1172 (1115 ई.) में हुआ। यहां से चलकर गांव सोनियासर में आकर आबाद हुए। उस समय मोहम्मद गौरी (1149 – 1206) का राज्य दिल्ली में था।
सोनियासर से आकर मरडाटु गांव संवत 1515 (1458 ई.) में महराम झूरिया ने बसाया। इन्हीं के नाम पर गाँव का नाम मरडाटु रखा गया जो वर्तमान मरडाटु बड़ी और मरडाटु छोटी के बीच में स्थित टीले पर बसा था जो अब उजाड़ हो गया है। झूरिया जाट वर्तमान में मरडाटु बड़ी में संवत 1975 (1918 ई.) में आकर बस गए। संभवत: संवत 1975 में फैली प्लेग माहमारी के कारण मूल गाँव छोड़ना पड़ा था। यहाँ अभी झूरिया जाटों के लगभग 250 घर हैं।
घोडीवारा खुर्द में 60 घर झूरिया लोगों के हैं। घोडीवारा से चलकर झूरिया लोग आजवा गांव, तहसील डीडवाना, नागौर में आए। यहाँ झूरिया गोत्र के 80 परिवार निवास करते हैं। अन्य गांवों में इस गोत्र के परिवार निम्नानुसार निवास करते हैं:
मुन्दड़ा (100), सीतसर (10) सुलखनिया (10), खुड़ी चूरू (10), बंगड़ी लक्ष्मणगढ़ (40), मालासी (15), भाउजी की ढाणी (10), भूमा बड़ा (5), बल्दू (8), भिंचावा (10), सांवलोदा पुरोहितान (7), यहां से यह लोग भिंचावा गांव गए।
हरियाणा में हिसार जिले के बालसमंद तहसील के बांडेड़ी गांव में 40 परिवार हैं।
मरडाटु गाँव में जब झूरिया लोग आए तो इनके साथ पारीक ब्राह्मण भी आए थे। संवत 1518 (1461 ई.) में पहले इस गांव में ब्राह्मण लोगों ने कुएं की नाल खोदी 55 हाथ तक, जब पानी नहीं आया था तो शेषनाल झूरिया जाटों ने खोदी तब जाकर पानी आया। यह उल्लेख पुराने कुएं के शिलालेख पर अंकित है।
इनके पूर्वज बीलाजी ने मरडाटु गाँव में सन ...... में बिलाणु जोहड़ बनवाया।
इनके पूर्वज तुलछाजी ने मरडाटु गाँव में सन् ...... में एक चबूतरा बनवाया। तुलछा जी के तीन पुत्रों 1. खरता, 2. बाला और 3. बोहिता से ही संतानों की वृद्धि हुई है।
Population
As per Census-2011 statistics, Mardatoo Bari village has the total population of 1377 (of which 705 are males while 672 are females).[1]
Notable Persons
- Bhagwan Singh Jhuria - DO LIC OF INDIA, Date of Birth : 5-January-1974, Vill - Mardatu Bari, PO- Bibipur Chhota, Teh- Laxmangarh, Sikar, Present Address : LIC Colony, Jhunjhunu,Phone Number : 01592-237017, Mob: 9414256016
External Links
- Information on Manrdatoo Bari village - villageinfo.in website
- Geo Location of Mardatu Bari, Mardatu Chhoti & Shekhiwas
- Villages in the Fatehpur tehsil, Sikar district
- Delimtation Commission Report
References
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